पंडित दीनदयाल उपाध्याय ने जनसंघ को आकार, विस्तार व एक विशिष्ट व्यवहार दिया-श्रवण सिंह गौड़
रेणुकूट।भारतीय जनता पार्टी द्वारा रेणुकूट मंडल के खाडपाथर सेक्टर के 289 बूथ पर शुक्रवार को पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी की जयंती मनाया गया।जनसंघ के संस्थापक पंडित दीनदयाल उपाध्याय के 104 वीं के अवसर पर उनके कृतियों पर वक्ताओं ने प्रकाश डाला।इस मौके बड़ी संख्या में भाजपा कार्यकर्ता मौजूद रहे।उत्तर प्रदेश राज्य वन जीव बोर्ड के सदस्य श्रवण सिंह ने पंडितजी की प्रतिमा पर माल्यार्पण व दीप प्रज्वलन के साथ शुभारंभ किया।इस मौके पर क्षेत्र के प्रत्येक बूथों पर अतिथि के रुप मे पहुंचे पार्टी पदाधिकारियों ने पंडित जी के व्यक्तित्व एवं कृतित्व की चर्चा की।रेणुकूट मंडल के खाडपाथर सेक्टर के 289 बूथ पर हुए कार्यक्रम को संबोधित करते हुए श्रवण सिंह ने कहा कि दीनदयाल जी ने जनसंघ को आकार, विस्तार व एक विशिष्ट व्यवहार दिया।उनका जीवन राष्ट्र को समर्पित था।देश की एकता व अखंडता के सन्दर्भ में पंडित जी मूलत:संघात्मक संविधान के खिलाफ थे।कहा वे चाहते थे कि भारत में विकेन्द्रीकृत एकात्म शासन की व्यवस्था होनी चाहिए।कहा पण्डित जी व्यक्तित्व के धनी थे।उन्होंने कहा कि पंडित दीनदयाल उपाध्यक्ष जी देश के विकास व पार्टी के लिए समर्पित थे इनके आदर्शों से सीख लेने की आवश्यकता है।अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य चांद प्रकाश जैन ने कहा कि पंडितजी एकात्मकवाद के प्रणेता थे।इस मौकै पर श्रवण सिंह गौड़ सदस्य राज्य वन्यजीव बोर्ड वरिष्ठ भाजपा नेता चांद प्रकाश जैन, सुरज ओझा शम्भु खरवार, रिक्कू सिंह शिव प्रसाद खरवार, सुरज गोड़ , पप्पू खरवार आदि मौजूद रहे।
रेणुकूट।भारतीय जनता पार्टी द्वारा रेणुकूट मंडल के खाडपाथर सेक्टर के 289 बूथ पर शुक्रवार को पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी की जयंती मनाया गया।जनसंघ के संस्थापक पंडित दीनदयाल उपाध्याय के 104 वीं के अवसर पर उनके कृतियों पर वक्ताओं ने प्रकाश डाला।इस मौके बड़ी संख्या में भाजपा कार्यकर्ता मौजूद रहे।उत्तर प्रदेश राज्य वन जीव बोर्ड के सदस्य श्रवण सिंह ने पंडितजी की प्रतिमा पर माल्यार्पण व दीप प्रज्वलन के साथ शुभारंभ किया।इस मौके पर क्षेत्र के प्रत्येक बूथों पर अतिथि के रुप मे पहुंचे पार्टी पदाधिकारियों ने पंडित जी के व्यक्तित्व एवं कृतित्व की चर्चा की।रेणुकूट मंडल के खाडपाथर सेक्टर के 289 बूथ पर हुए कार्यक्रम को संबोधित करते हुए श्रवण सिंह ने कहा कि दीनदयाल जी ने जनसंघ को आकार, विस्तार व एक विशिष्ट व्यवहार दिया।उनका जीवन राष्ट्र को समर्पित था।देश की एकता व अखंडता के सन्दर्भ में पंडित जी मूलत:संघात्मक संविधान के खिलाफ थे।कहा वे चाहते थे कि भारत में विकेन्द्रीकृत एकात्म शासन की व्यवस्था होनी चाहिए।कहा पण्डित जी व्यक्तित्व के धनी थे।उन्होंने कहा कि पंडित दीनदयाल उपाध्यक्ष जी देश के विकास व पार्टी के लिए समर्पित थे इनके आदर्शों से सीख लेने की आवश्यकता है।अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य चांद प्रकाश जैन ने कहा कि पंडितजी एकात्मकवाद के प्रणेता थे।इस मौकै पर श्रवण सिंह गौड़ सदस्य राज्य वन्यजीव बोर्ड वरिष्ठ भाजपा नेता चांद प्रकाश जैन, सुरज ओझा शम्भु खरवार, रिक्कू सिंह शिव प्रसाद खरवार, सुरज गोड़ , पप्पू खरवार आदि मौजूद रहे।
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